परिचय: हिचकी का रोग किसी भी व्यक्ति को तब होता है जब उनके शरीर की तंत्रिकाएं उत्तेजित होकर जरूरत से ज्यादा सिकुड़ जाती हैं।
हिचकी को ठीक करने के लिए प्राकृतिक चिकित्सा से उपचार-
जब हिचकी आए तो उस समय एक गिलास गर्म पानी पीने से यह रोग ठीक हो जाता है।
इस रोग को ठीक करने के लिए पेट की सिंकाई तथा पेट पर ठंडे लपेट का प्रयोग करना चाहिए। ऐसा करने से पेट के डायाफ्रॉम पर दबाव कम हो जाता है जिसके फलस्वरूप हिचकी बंद हो जाती है।
हिचकी आने पर लम्बी तथा गहरी सांस लेने से हिचकी बंद हो जाती है।
अपना ध्यान किसी दूसरी चीजों पर केन्द्रित करने से हिचकी आना बंद हो जाती है।
बर्फ के छोटे-छोटे टुकड़े को मुंह में रखकर चूसने से हिचकी आना बंद हो जाती है।
हिचकी आने पर 1 चम्मच चीनी या शहद का सेवन करने से यह रोग तुरंत ठीक हो जाता है।
एक गिलास गर्म पानी में 1 चम्मच शहद डालकर उस पानी को पीने से हिचकी बंद हो जाती है।
छोटी इलायची और तुलसी के पत्तों को एकसाथ पीसकर पानी में मिलाकर पीने से हिचकी बंद हो जाती है।
2-3 लौंग को चबाकर उसके ऊपर पानी पीने से हिचकी बंद हो जाती है।
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