पेट में गैस

 हमारा शरीर एक बहुत ही उन्नत किस्म का मशीन है. इसका एक-एक तंत्र (system) अपने आप में अनोखा है. इस लेख में हम पाचन तंत्र के बारे में जिक्र करना चाहेंगे. पाचन तंत्र के कुछ दोषों में वायु विकार एक प्रमुख दोष है. पेट में गैस बनना एक आम समस्या है.  गैस बनने पर कभी – कभी इसका  पासिंग असुविधाजनक हो जाता है - खासकर जब हम अपने घर -परिवार या दोस्तों के साथ बैठे होते हैं. इसका जिक्र करने में भी शर्म आती है. लेकिन यह जीवन की एक सच्चाई है । प्रत्येक व्यक्ति डकार लेकर (burping or belching) या अधोवायु (farting) या पादकर गैस निकलता है. आइए हम इसके कारणों पर नज़र डालते हैं:


पेट में गैस बनने के कारण 

पेट में गैस दो तरीके से बनता है:-

> पहला - खाने, बोलने के दौरान वायु पेट में चली जाती है या यो कहें कि हम हवा को निगल लेते हैं.

यह हवा डकार द्वारा पेट से बाहर निकल जाती  है. कुछ हवा आंत में चला जाती  है जो अधोवायु के रूप में बाहर निकलती  है.

> गैस बनने का  दूसरा कारण पाचन तंत्र  संबंधी दोष है. पाचन के दौरान भोजन में खाए गए खाद्य पदार्थ का उपापचय हानिरहित बैक्टीरिया और एंजाइम द्वारा किया जाता है. इसी दौरान कुछ गैस- हाइड्रोजन, कार्बन डाइऑक्साइड और मीथेन भी बनती हैं. कुछ लोगों के पेट में सल्फर गैस भी बनता है जो बदबू पैदा कर सकता है.


खाद्य पदार्थ

खाद्य पदार्थ की ऐसी कोई सूची नहीं है जिनके कारण ही गैस बनता है.

कुछ खाद्य पदार्थों से कुछ लोगों को गैस बन जाता है जबकि कुछ लोगों को उससे कोई गैस नहीं बनता है.

> सेम, गोभी, प्याज, नाशपाती, सेब, आड़ू, दूध और दूध उत्पादों से अधिकांश लोगों को गैस बनता है.

> असल में वैसे  खाद्य पदार्थ जिनमें  वसा या प्रोटीन के बजाय कार्बोहाइड्रेट का प्रतिशत ज्यादा होता है , के खाने से ज्यादा गैस बनता है.

हालाँकि जैसा कि पहले कहा गया है, हर कोई एक दिए गए भोजन के लिए एक सामान  प्रतिक्रिया नहीं करता है, इसलिए किसी खास  भोजन या खाद्य समूह में कटौती की सलाह नहीं दी जाती , क्योंकि आप अपने आप को आवश्यक पोषक तत्वों से वंचित भी नहीं रख सकते हैं. अक्सर, जैसे ही एक व्यक्ति की उम्र बढती है , कुछ एंजाइमों का उत्पादन कम होने लगता है और कुछ खाद्य पदार्थों से अधिक गैस भी बनने लगता है.


लक्षण

इसका सबसे आम लक्षण डकार, पेट फूलना, पेट में  सूजन और दर्द है. डॉक्टर्स के अनुसार एक दिन में  औसतन 15 से 20 बार गैस पास करना सामान्य माना जाता है. इनमे में कुछ भी असामान्य लगे तो तुरंत डॉक्टर के पास जाएं और उचित परामर्श लें.


निवारण के उपाय


1. खाना धीरे - धीरे अच्छी तरह से चबाकर खाओ. खाना को जल्दी -जल्दी निगलने से हवा की अधिक मात्र पेट में जाएगी जो बाद में परेशानी का कारण बन जाएगी.


2. धूम्रपान और च्युइंग गम या मिठाई खाने से भी हवा की अधिक मात्रा हमारे पेट में चली जाती है.

3. जब भी किसी सामाजिक सभा या बैठक में जाएं तो यह सलाह दी जाती है कि आप पेट भर खा कर नहीं जाएं क्योंकि जब पेट भरा हुआ है, तो पेट दबाब कम करने के लिए गैस बाहर निकालता है.


4. किसी भी तरह का fizzy पेय पदार्थ न पियें.


5. नियमित रूप से व्यायाम करें. यह सभी रोगों का एक समाधान है. नियमित व्यायाम से शरीर के सभी अंगों को लाभ पहुँचता है.


6. योग करने से भी पाचन तंत्र स्वस्थ रहता है.


7. अपने आहार में बदलाब करें - सेम, गोभी, प्याज जैसे खाद्य पदार्थ की मात्रा का ध्यान रखें. हालांकि, इससे पहले कि आप इन चीजों को खाना छोड़ दे एक या दो सप्ताह इन्हें खाकर यह पता लगा लें कि आपको किस चीज से नुकसान पहुँचता है. अपने आहार का ट्रैक रखें.


8. मिठास या Sorbitol युक्त उत्पादों से बचें, जो चीनी मुक्त मिठाई और कुछ दवाओं में प्रयोग किया जाता है.


9. चाय और रेड वाइन भी अधोवायु को रोकने में मदद करता है.


10. आरामदायक कपड़े पहनें. इससे पेट फूलने या ज्यादा गैस निकलने की स्थिति में परेशानी नहीं होती है.


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